Bharat Bandh violence in Agra: Upper caste & OBC maurcha give ultimatum
आगरालीक्स…आगरा में दलित आंदोलन के बाद सवर्ण ओबीसी हित मोर्चा ने भी बडा ऐलान किया है। उत्पात मचाने वालों को चिन्हित कर अरेस्ट न किए जाने पर 10 अप्रैल को सवर्ण ओबीसी हित मोर्चा बैठक कर आगे के आंदोलन की रणनीति बनाएगा।
सोमवार को उत्पाद के बाद फतेहपुर सीकरी से सांसद चौधरी बाबूलाल के प्रतिनिधि व बेटे रामेश्वर चौधरी ने मंगलवार सुबह 11 बजे से लोहामंडी स्थित महाराजा अग्रसेन सेवा सदन में सवर्ण ओबीसी हित मोर्चा की बैठक बुलाई गई थी। इसमें सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का समर्थन करते हुए सवर्ण और ओबीसी को एकजुट होने का आहवान किया गया था। सुबह से ही अग्रसेन सेवा सदन पर पुलिस फोर्स तैनात कर दिया गया, ज्ञापन लिया गया। सवर्ण ओबीसी हित मोर्चा की तरफ से रामेश्वर चौधरी ने ज्ञापन देते हुए उपद्रवियों को चिन्हित कर अरेस्ट करने के लिए नौ अप्रैल तक का समय दिया गया है, इसके बाद 10 अप्रैल को बैठक कर आगे की रणनीति बनाई जाएगी।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले के विरोध में सोमवार को भारत बंद के लिए सडकों पर नीला और पंचशील का झंडे के साथ डंडा लेकर उतरे युवाओं ने जमकर उत्पाद मचाया। होटल और गाडियों में तोडफोड के साथ मारपीट और लूटपाट की गई। इसके बाद सोमवार रात से इंटरनेट सेवा ठप कर दी गई थी। 12 वीं तक के स्कूलों के साथ शराब के ठेके और होटल की बार बंद कर दी थी। पुलिस ने रात तक 100 उपद्रवियों को अरेस्ट कर लिया। इसके साथ ही तीन थानों में 14 मुकदमे दर्ज किए गए हैं। चौराहों और घर व दुकानों पर लगे सीसीटीवी से उपद्रवियों को चिन्हित किया जा रहा है।
दोपहर बाद स्थिति होने लगी सामान्य
आगरा में उपद्रवियों के हिंसक होने के बाद मंगलवार दोपहर बाद स्थिति सामान्य हो गई है, 16 घंटे बाद इंटरनेट सर्विस शुरू कर दी गई, शहर के बाजार खुल गए हैं। मगर, बाजारों में भीड नहीं है। घर से बाहर लोग नहीं निकले हैं। आरएएफ और स्थानीय पुलिस धाकरान, मधु नगर, ग्वालियर रोड, बिजलीघर सहित कई क्षेत्रों में तैनात की गई है।
16 घंटे बाद शुरू हुई इंटरनेट सर्विस
आगरा में 16 घंटे बाद दोपहर 2 बजे के बाद इंटरनेट सर्विस शुरू होने लगी, कुछ नेटवर्क में साढे तीन बजे इंटरनेट सर्विस शुरू हुई।
आरएएफ और पुलिस फोर्स तैनात, बाजार खुले
शहर के दलित बाहुल्य क्षेत्रों और मार्केट में आरएएफ और स्थानीय पुलिस को लगाया गया है, सुबह से ही अधिकांश क्षेत्रों में बाजार खुल गए। मगर बाजार में भीड दिखाई नहीं दी, बहुत कम लोग ही घरों से बाहर निकले।