Agra News : Newborn Baby Child fund in SN Medical College Agra Cradle #agra
आगरालीक्स…. आगरा के एसएन में घंटी बजी, नर्स बाहर निकली, पालना में नवजात खेल रही थी, उसे गोद में उठा लिया, नवजात का इलाज चल रहा है, इसे गोद दिया जाएगा, जानें पूरी प्रक्रिया।
आगरा के एसएन मेडिकल काॅलेज में 21 अप्रैल को एमसीएच बिल्डिंग के बाहर आश्रय पालना स्थल शुरू किया गया। इसमें कोई भी अनचाहे नवजात को छोड़ कर जा सकता है। उसे कोई रोकेगा नहीं और कोई कार्रवाई भी नहीं की जाएगी। यह इसलिए है जिससे अनचाहे नवजात को कोई फेंके नहीं, उसकी जिंदगी बचाई जा सके और गोद दिया जा सके।
रात 11 बजे बजी घंटी
पालना में सेंशर लगे हुए हैं। शनिवार रात 11 बजे एमसीएच बिल्डिंग में घंटी बजी, घंटी बजने के दो मिनट बाद स्वास्थ्यकर्मी पहुंच गए। उन्होंने नवजात को उठा लिया, उसे चेक किया।
एनआईसीयू में भर्ती बच्ची
बच्ची को बाल रोग विभाग के एनआईसीयी में भर्ती कराया गया है। बाल रोग विभाग के अध्यक्ष डाॅ. नीरज यादव ने बताया कि नवजात बेटी है, उसका वजन कम है, वैसे ठीक है, इलाज किया जा रहा है।
मासूम की सुरक्षा एवम् पुनर्वास :
- स्वागत कक्ष में घंटी बजते ही चिकित्साकर्मी द्वारा आश्रय पालना स्थल से शिशु को तत्काल प्राप्त कर उसकी चिकित्सकीय एवं व्यक्तिगत देखभाल यथा उसको दूध पिलाना, साफ सफाई करना, स्वच्छ कपड़े पहनाना आदि की जावेगी।
- शिशु के स्वस्थ होने पर उसे तत्काल नजदीकी राजकीय मान्यता प्राप्त शिशु गृह में भेज दिया जाएगा।
- जिला बाल कल्याण समिति द्वारा शिशु को आवश्यकतानुसार दत्तक ग्रहण हेतु विधिक रुप से स्वतंत्र घोषित किया जाएगा।
- केंद्रीय दत्तक ग्रहण संसाधन प्राधिकरण द्वारा शिशु के दत्तक ग्रहण की कार्यवाही की जावेगी।
- तत्पश्चात माननीय जिला न्यायालय द्वारा उस शिशु को दत्तक ग्रहण के माध्यम से पुनर्वास कर दिया जाएगा।
आश्रय पालना स्थल से लाभ :
- समस्त अनचाहे नवजात शिशु को जीने का अधिकार प्राप्त हो सकेगा।
- इच्छुक दंपति इन मासूम को विधि अनुरूप गोद ले कर अपना परिवार पूरा कर सकेंगे।
- हर मासूम को स्वस्थ, सुरक्षित एवं खुशनुमा माहौल में स्नेह व सम्मान के साथ विकसित होने का अवसर प्राप्त हो सकेगा।
- अच्छी परवरिश से आने वाले कल यह मासूम समाज एवं राष्ट्र के लिए अमूल्य संपत्ति बन सकेंगे।