आगरालीक्स…आगरा के शांतिवेद इंस्टीट्यूट आफ मेडिकल साइंसेज में पश्चिमी यूपी में पहली बार दुर्लभ बीमारी एचओसीएम से पीड़ित मरीज की हार्ट सर्जरी (Intra Cardiac Septal Myemectomy) की गई। यह बीमारी 10 लाख में एक मरीज को होती है।
शांतिवेद इंस्टीटृयूट आफ मेडिकल साइंसेज, नेशनल हाईवे सिकंदरा के कार्डियोथोरेसिक वैस्कुलर सर्जन डॉ. अतुल गुप्ता ने बताया कि दुलर्भ बीमारी हाइपरट्रॉफिक कार्डियोमायोपैथी (एचओसीएम) से पीड़ित 36 साल की महिला मरीज भर्ती हुई। वह नेपाल के कई हॉस्पिटल में दिखा चुकी थी, इसके बाद दिल्ली के अस्पतालों में भी इलाज कराया।
हार्ट सर्जरी में जान का जोखिम
ह्रदय की मांसपेशी बढ़ जाती हैं। इसके लिए इंट्रा कार्डियोथोरेसिक वैस्कुलर सर्जन डॉ. अतुल गुप्ता ने बताया कि महिला मरीज को हाइपरट्रॉफिक कार्डियोमायोपैथी की समस्या थी। इसमें ह्रदय की मांसपेशी बढ़ जाती हैं, इस तरह की सर्जरी करने में जान का जोखिम रहता है। शांतिवेद इंस्टीटयूट आफ मेडिकल साइंसेज में अत्याधुनिक सुविधाओं के साथ ही स्टेट आफ आर्ट आईसीयू है, मरीज की इंट्रा कार्डियक सेप्लट मायोमेक्टोमी की गई। सर्जरी के पांच दिन बाद मरीज के पूरी तरह से ठीक होने पर डिस्चार्ज कर दिया गया। शांतिवेद इंस्टीटृयूट आफ मेडिकल साइंसेज के निदेशक डॉ. श्वेतांक प्रकाश ने बताया कि अत्याधुनिक तकनीकी से सर्जरी और इलाज किया जा रहा है, अब सामान्य और गंभीर बीमारी से पीड़ित मरीजों को इलाज और सर्जरी कराने के लिए दिल्ली और जयपुर नहीं जाना पड़ रहा है। शांतिवेद इंस्टीटृयूट आफ मेडिकल साइंसेज में ही मरीजों का इलाज किया जा रहा है।