आगरालीक्स…भक्त और भगवान के बीच सबसे बड़ा अवरोध अहंकार. बृज भूमि धर्मार्थ ट्रस्ट द्वारा सेक्टर 7 के पार्क में श्रीमद्भागवत में कथा वाचक श्रद्धेय एक ब्रह्म राकेश जी ने बतायी भक्ति की महिमा
राजा दक्ष ने अहंकार के वशीभूत भगवान शिव का अपमान किया। परिणाम स्वरूप राजा दक्ष को भगवान शिव के क्रोध का भाजन बनना पड़ा। यज्ञ विध्वंस के साथ दक्ष का शीश भंजन हुआ। बृज भूमि धर्मार्थ ट्रस्ट द्वारा सेक्टर 7 पार्क में आयोजित श्रीमद्भागवत कथा में आज व्यास पीठ पर विराजमान श्रद्धेय एक ब्रह्म राकेश जी ने श्रद्धालुओं को भक्ति की महिमा की कृपा और मनुष्य के अहंकार के दुष्परिणामों के बारे में बताया।
पित्र पक्ष के पावन मौके पर श्रीमद्भागवत में आज श्रीहरि की ध्रुव पर कृपा, अजामिल चरित्र, वृत्तासुर स्तुति, प्रह्लाद भक्ति व नृसिंह अवतार की कथा का संगीतमय वर्णन किया। सत्संग की महिमा का वर्णन पापी ब्राह्मण अजामिल चरित्र के माध्यम से बताया। प्रह्लाद चरित्र का वर्णन करते हुए कहा कि उन्होंने अपनी मां के गर्भ में ही नारद जी द्वारा ज्ञान प्राप्त कर लिया था। प्रह्लाद द्वारा बतायी गई भगवान विष्णु की नौ प्रकार की भक्ति के बारे में बताया। अंत में आरती कर सभी भक्तों को प्रसाद वितरित किया गया। इस अवसर पर मुख्य रूप से मुख्य रूप से राजा परिशित रवींद्र सिंह व कमलेश, सुरेश कंसल (एडवोकेट) महामंत्री, नितिन गोयल, नामित गोयल, सुमित जिंदल (मीडिया प्रभारी), गौरव तिवारी, नेत्रपाल यादव, शिवांगी, संगीता, विनोद कुमार राठौर, शिवानी, किरण देवी, जानकी देवी, गनेश आदि उपस्थित थे।