Pitru Visarjan Amavasya: Know the right time to perform Shradh #agranews
आगरालीक्स (05th October 2021 Agra News)…पितृ विसर्जन अमावस्या पर कैसे करें पितरों की विदाई. और क्या है महत्व, जानिए श्राद्ध करने का सही समय.
पितृ अमावास्या छह अक्टूबर बुधवार की है। पंडित हृदय रंजन शर्मा ने बताया कि ऐसा माना जाता है कि पितृपक्ष के 16 दिनों के दौरान पितर धरती पर उतरते हैं। अमावस्या के दिन उनकी विदाई की जाती है। इस दिन धरती पर आए सभी पितरों की विधिवत विदाई की जाती है। उनकी आत्मा की शांति के उपाय किए जाते हैं।
ऐसे करें पितरों की विदाई
ज्योतिषाचार्य हृदय रंजन शर्मा ने बताया कि सुबह स्नान करके शुद्ध मन से भोजन बनाएं। भोजन पूरी तरह से सात्विक होगा और इसमें लहसुन और प्याज का इस्तेमाल नहीं होगा। इसमें खीर-पूरी जरूर होना चाहिए।
दोपहर को कराएं ब्राह्मण को भोजन
भोजन कराने और श्राद्ध करने का समय मध्याह्न यानी दोपहर का होना चाहिए। ब्राह्मण को भोजन कराने से पहले पंचबली जरूर दें। गाय को भोजन, कुत्ते के लिए, चींटी के लिए, कौआ के लिए और देवताओं के लिए भोजन निकाल दें. इसके बाद हवन करें. इतना करने के बाद आप ब्राह्मण को भोजन कराएं।
दक्षिणा देकर विदा करें
इसके बाद ब्राह्मण का तिलक करें और श्रद्धापूर्वक दक्षिणा देकर विदा करेंं बाद में घर के सभी सदस्य एक साथ मिलकर भोजन करें। पितरों की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना करें। पितरों की विदाई को लेकर एक मान्यता यह भी कि पितर अगर अपने परिवार की विदाई से प्रसन्न हुए तो अपने साथ उनकी सभी परेशानियां लेकर चले जाते हैं।
देव पितृ कार्य- सर्वपितृ अमावस्या श्राद्ध का समय और तारीख
अमावस्या तिथि प्रारंभ 05 अक्टूबर 2021 दिन मंगलवार को सायं 7:04 से
अमावस्या तिथि समाप्त – देवपितृ कार्ये अमावस्या,06 अक्टूबर 2021, बुधवार सायं 4:34 पर
श्राद्ध करने का सही समय
कुतुप मुहूर्त = सुबह11:51 से 12:40 तक
रोहिण मुहूर्त = 12:40 से 13:29 तक
अपराह्न काल = 13:17 से 15:36 तक