1 lakh 20 thousand rupees given to the handicapped center in Agra…#agranews
आगरालीक्स…आगरा में लायंस क्लब आगरा प्रयास ने विकलांग केन्द्र को 1 लाख 20 हजार रुपये की सहायता दी. 25 सालों में 47 हजार दिव्यांगों की मदद को आगे आए…
दिव्यांगों के लिए एक और ‘प्रयास’
हरदयाल विकलांग केंद्र अब तक हजारों दिव्यांगों की जिंदगी को सुधार चुका है। ऐसा हो पाता है उस मदद से जो समाज के सक्षम लोग प्रदान करते हैं। यह कहना है केंद्र के ट्रस्टी और व्यवस्थापकों का। समाजसेवा को समर्पित लायंस क्लब आगरा प्रयास ने अपनी सेवा गतिविधि गुरूवार को लंगड़े की चौकी स्थित हरदयाल विकलांग केंद्र में आयोजित की। इसमें केंद्र को दिव्यांगों के लिए कैलीपर्स, कृत्रिम अंग और उपकरण आदि के लिए एक लाख 20 हजार रूपये की सहायता राशि प्रदान की गई। मुख्य अतिथि समाजसेवी और लायंस क्लब के डिस्ट्रिक्ट चेयरपर्सन जितेंद्र चौहान ने कहा कि हरदयाल विकलांग केंद्र द्वारा किए जा रहे सेवा कार्य को देखकर सेवा के असली मायने समझ आते हैं। यही वजह है कि वे लायंस के अन्य और शहर के अन्य क्लबों को भी हरदयाल विकलांग केंद्र से जोड़ने और दिव्यांगों के लिए अधिक से अधिक सहायता पहुंचाने की कोशिश कर रहे हैं।
11 सालों से दिव्यांगों के लिए पहुंचा रहे मदद
क्लब के अध्यक्ष कुमार कृष्ण गोयल ने कहा कि लायंस क्लब वर्ष 2009 से केंद्र से जुड़ा है और पिछले 11 सालों से दिव्यांगों के लिए मदद पहुंचाई जा रही है। केंद्र की सेवाएं देखकर हम सभी को भी प्रेरणा मिलती है। सचिव रितेश मांगलिक ने कहा कि क्लब द्वारा लगातार कोशिश की जा रही है कि दिव्यांगों के लिए अधिक से अधिक सहायता प्रदान की जा सके। कोषाध्यक्ष दीपक अग्रवाल ने अन्य क्लबों से भी अपील की कि वे केंद्र से जुड़कर दिव्यांगों की मदद करने का प्रयास करें। चार्टर्ड प्रेसिडेंट संजीव मित्तल ने बताया कि लायंस क्लब के साथ ही माया मित्तल चैरिटेबिल ट्रस्ट द्वारा भी हर माह दिव्यांग केंद्र को सहायता प्रदान करने की कोशिश की जाती है।
ये लोग रहे उपस्थित
को आर्डिनेटर अशु मित्तल ने बताया कि केंद्र पर हर गुरूवार को लगने वाले कैंप में अलग-अलग जगहों से दिव्यांग आते हैं। पिछले 25 सालों में अब तक करीब 47 हजार दिव्यांगों की मदद की जा चुकी है। केंद्र के ट्रस्टी सुनील अग्रवाल और नीरू अग्रवाल ने बताया कि यहां दो डाॅक्टर हैं जो पहले शिविर में आने वाले मरीजों को देखते हैं, फिर तय करते हैं कि किस मरीज को लिंब, किसे कैलीपर्स व अन्य उपकरण की जरूरत है। इस दौरान मयूरी मित्तल, विनय मित्तल, दीपाली खेत्रपाल, राकेश खेत्रपाल, दिव्या गोयल, तनुजा मांगलिक आदि मौजूद थे।