आगरालीक्स…(12 July 2021 Agra News) आगरा में ब्लाइंड हथिनी ‘नीना’ के समर्थन में बॉलीवुड स्टार श्रुति हासन से लेकर आथिया शेट्टी आईं, नीना की दर्द भरी दास्तां हैं। पढे क्या है मामला
हाथी अस्पताल पहुची नेत्रहीन हथनी
कई बॉलीवुड हस्तियों ने 60 वर्षीय वृद्ध और नेत्रहीन भीख मांगने वाली हथनी “नीना” को आवाज और अपना समर्थन देने के लिए सोशल मीडिया का सहारा लिया। नेत्रहीन हाथियों को दुर्व्यवहार से बचाने के लिए बनाई गई याचिका पर 60,000 से अधिक हस्ताक्षर एकत्र किए गए। नीना हथनी दोनों आंखों से नेत्रहीन है और गंभीर गठिया, लंगड़ापन एवं अपक्षयी जोड़ों के रोग से पीड़ित है। उसके बिगड़ते स्वास्थ्य और गंभीर स्थिति का मतलब था कि उसे तत्काल चिकित्सकीय सहायता की आवश्यकता थी। वाइल्डलाइफ एसओएस और वन विभाग ने नीना को तत्काल उपचार और देखभाल के लिए मथुरा के हाथी अस्पताल ले कर आए।
भावुक करने वाली है नीना की कहानी
60 वर्षीय हथनी “नीना” का इस्तेमाल जीवन भर सड़कों पर भीख मांगने के साथ-साथ शादीयों में जुलूस के लिए भी किया जाता रहा। अंधी, कमज़ोर, बुजुर्ग, गंभीर रूप से कुपोषित, और गठिया रोग से पीड़ित होने के बावजूद, व्यावसायिक उपयोग के लिए उसका शोषण जारी रहा। उसके मालिक या महावत द्वारा “अंकुश” की तीखी नोक की मदद से अंधी हथनी को व्यस्त यातायात, शादी समारोह में शामिल होने के लिए मजबूर किया जाता रहा, जहां डरावनी तेज़ आवाज और लोगों की भीड़ से वह हमेशा भयभीत रही। जब नीना काम पर नहीं जाती थी, तो उसे नुकीली जंजीर से कसकर बांध दिया जाता था, जिससे वह लेटने और आराम करने में असमर्थ होती थी। महामारी के दौरान भी, जब शादियों में भीड़ पर प्रतिबंध था, इस अंधी हथनी को बारात में इस्तेमाल किया जाता रहा एवं सड़कों पर भी भीख मांगने के लिए मजबूर किया जाता रहा। नीना को अपने पूरे जीवन में कभी भी उचित चिकित्सा उपचार नहीं मिला।
ये स्टार आए मदद को
अथिया शेट्टी, श्रुति हासन, रणदीप हुड्डा, विवेक ओबरॉय, आदिल हुसैन, रमोना एरिना, पिया त्रिवेदी, बानी जे, पूजा बत्रा, सुचित्रा पिल्लई, जिम सर्भ जैसी कई बॉलीवुड हस्तियां ने और यहां तक कि लोकप्रिय अमेरिकी टीवी श्रृंखला- “मॉडर्न फैमिली” स्टार नोलन गोल्ड, नीना की मदद करने के लिए याचिका पर हस्ताक्षर करने और अपने संबंधित सोशल मीडिया अकाउंट पर इसे साझा करके अपना समर्थन दिखाने के लिए शामिल हुए।
अब की जा रही है देखभाल
मथुरा स्थित वाइल्डलाइफ एसओएस के हाथी अस्पताल में, नेत्रहीन हथनी नीना को अनुभवी पशु चिकित्सकों और देखभाल कर्मचारियों की टीम का समर्पण मिला, जिन्होंने उसकी परेशानीयों को कम करने की संभावनाओं का पता लगाने के लिए उसकी क्षतिग्रस्त आँखों का अल्ट्रासाउंड किया, उसकी स्वास्थ स्थिति एवं नाज़ुक हड्डियों का आंकलन करने के लिए एक्स-रे करा एवं अन्य परिक्षण करे। इसके बाद, वाइल्डलाइफ एसओएस की पशु-चिकित्सकों की टीम ने उसके लिए एक गहन उपचार योजना विकसित करी, जिसमें उसके स्वास्थ्य को संबोधित करते हुए उसके दर्द और पीड़ा को कम करने के लिए हाइड्रोथेरेपी, लेज़र थेरेपी और पोषित आहार भी शामिल हैं।
मशूहर हस्तियों का जताया आभार
वाइल्डलाइफ एसओएस के सह-संस्थापक और सीईओ कार्तिक सत्यनारायण ने कहा, “वाइल्डलाइफ एसओएस उन सभी मशहूर हस्तियों का आभारी हैं, जिन्होंने नीना हथनी की दुर्दशा के लिए बनाई गई याचिका पर अपना समर्थन व्यक्त किया। संकटग्रस्त हाथियों की मदद के लिए वन विभाग के सहयोग से हाथी अस्पताल की स्थापना की गई थी। आज यह देखकर खुशी होती है कि, मशहूर हस्तियां ऐसे वन्यजीवों के शोषण की रोकथाम के लिए अलग-अलग सोशल मीडिया प्लेटफार्म के माध्यम से लोगों में जागरूकता फैला रहे हैं।”
अपक्षयी जोड़ों के रोग से ग्रसित है नीना
वाइल्डलाइफ एसओएस के पशु-चिकित्सा सेवाओं के उप-निदेशक, डॉ इलियाराजा ने कहा, “नीना हथनी अपक्षयी जोड़ों के रोग से पीड़ित है, जिसके कारण उसके पीछे के पैरों में तकलीफ है। अधिक भार उठाने के कारण उसके आगे के पैर भी प्रभावित हुए हैं। दोनों आंखें भी पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई हैं, संभवतः किसी बाहरी आघात और चिकित्सा उपचार में कमी के कारण। उसे ताकत हासिल करने के लिए सावधानीपूर्वक पोषित आहार पर रखा गया है।”
वाइल्डलाइफ एसओएस की सचिव, गीता शेषमणि ने कहा, “वर्षों की उपेक्षा और दुर्व्यवहार ने नीना के स्वास्थ्य पर गहरा असर डाला है, जिससे उसको उभारने के लिए हम सभी ज़रूरी चिकित्सकीय उपचार एवं देखभाल प्रदान कर रहे हैं।” वाइल्डलाइफ एसओएस के डायरेक्टर कंज़रवेशन प्रोजेक्ट्स, बैजूराज एम.वी ने कहा, “नीना जैसी नेत्रहीन एवं विकलांग हथनी की मदद को वाइल्डलाइफ एसओएस पर विश्वास जताने के लिए हम उत्तर प्रदेश वन विभाग के आभारी हैं।” रजनीकांत मित्तल, आईएफएस – डीएफओ, मथुरा ने कहा, “उत्तर प्रदेश वन विभाग को इस बात की ख़ुशी है की वाइल्डलाइफ एसओएस के सहयोग से नीना जैसी पीड़ित हथनी को हाथी अस्पताल में उचित उपचार प्रदान हो पा रहा है।”