नईदिल्लीलीक्स… चीन में कोरोना के बढ़ते प्रकोप से लॉकडाउन लगा तो उद्योग-धंधों पर भी पड़ेगा असर। आयात-निर्यात हो सकता है प्रभावित।
लॉकडाउन की आशंका
चीन में कोरोना से मचे हाहाकार के बीच चीन में लॉकडाउन की आशंका जताई जा रही है। इससे भारत के निर्यात के साथ ही आयात पर भी व्यापक देखने को मिलेगा।
फार्मास्यूटिकल्स, वाहनों के कलपुर्जे पर असर
व्यापार संगठनों के मुताबिक जोखिम वाले क्षेत्रों में फार्मास्यूटिकल्स, वाहनों के कलपुर्जे और इलेक्ट्रॉनिक सामान और उसके पार्ट्स शामिल हैं।
चीन इन वस्तुओं का करता है आयात
चीन करीब सभी जींसों का बड़ा आयातक है। इसमें चावल, कपास, अनाज (मक्का, जौ, गेहूं), सोयाबीन, चीनी, खाद्य तेल जैसे पाम ऑयल सोया ऑयल आदि शामिल हैं और अगर बाजार में कोई व्यवधान आता है तो इससे वैश्विक व्यापार पर व्यापक असर पड़ना स्वाभाविक है। जबकि चीन भारत से चावल, कपास, मूंगफली, धनिया, जीरा और कई अन्य मसालों, तिल, अरंडी के तेल आदि का आयात करता है।
चीन में बेड के लिए तरस रहे लोग
चीन में कोरोना वायरस ने कहर बरपा रखा है। चीन में लोग अस्पतालों में बेड के लिए तरस रहे हैं। इसी बीच चीन के शीर्ष स्वास्थ्य प्राधिकरण ने एक चौंकाने वाली खबर सुनाई है। रायटर के अनुसार सरकार के शीर्ष स्वास्थ्य प्राधिकरण ने जानकारी देते हुए आशंका जताई कि इस हफ्ते एक दिन, करीब 3 करोड़ 70 लाख लोग कोरोना वायरस से संक्रमित हुए। एक दिन में आए कोरोना के यह सबसे बड़े आंकड़े साबित हो सकते हैं।
भारत में विशेष सतर्कता
चीन, अमेरिका, दक्षिण कोरिया समेत कई देशों में कोरोना केसों के बढ़ने के साथ भारत में भी संक्रमण को लेकर सतर्कता बढ़ा दी गई है। हवाई अड्डों पर कोविड जांच की जा रही है। भीड़भाड़ वाले स्थानों पर विशेष सतर्कता बरती जा रही है।