आरोप है कि इसे पुत्रबीजक दवा को बताया गया है। विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद और अभिनेत्री जया बच्चन सहित लगभग पूरे विपक्ष ने की रामदेव के खिलाफ तत्काल कार्रवाई की मांग की है।
सदन की कार्यवाही शुरू होते ही त्यागी ने ‘पुत्रजीवक बीज’ का पैकेट दिखाते हुए इसका विरोध किया, जिसके बाद जया बच्चन, जावेद अख्तर समेत कई सांसदों ने इसमें सुर में सुर मिला लिए। इस पूरे मसले पर भाजपा कुछ भी बोलने से बच रही है। कैबिनेट मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि सरकार अभी इस मामले में और जानकारी इक्ट्ठा करना चाहेगी, वहीं स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने कहा कि यह गंभीर मसला है और सरकार इस पर उचित कार्रवाई करेगी।
दिव्य फार्मेसी की दवा को लेकर विवाद नया नहीं है। इससे पहले भी पतंजलि योगपीठ में ‘पुत्रवती’ नामक दवा बेचने को लेकर काफी विवाद हो चुका है। 2007 में उत्तराखंड सरकार के आदेश पर मामले की जांच भी की गई थी, जिसके बाद इस दवा को बेचना बंद कर दिया गया था। पतंजलि योगपीठ की वेबसाइट पर दवाओं की लिस्ट में पुत्र होने की दवा का नाम साफ तौर पर दर्ज किया गया है। विवाद के बाद दिव्य फार्मेसी की इस दवा का नाम बदलकर ‘पुत्रवती’ की जगह ‘पुत्रजीवक बीज’ कर दिया गया।
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