खंदौली के उस्मानपुर में 18 अक्टूबर को सुबह गांव के बाहर सिर और हाथ कटी लाश मिली थी। गांव के सतीश चंद्र ने शव की शिनाख्त अपने भाई बबलू उर्फ बंटू के रूप में की। बंटू ट्रक चालक था। सतीश ने दूसरे दिन गांव के ही धर्मेद्र समेत तीन लोगों के खिलाफ हत्या का मुकदमा दर्ज करा दिया। इसके बाद इनकी गिरफ्तारी को दबाव बना रहे थे। पुलिस को पता चला कि बंटू के परिजनों ने उसके मरणोपरांत संस्कार की रस्म पूरी नहीं की गई। उसी दिन बुर्ज मिश्री निवासी राहुल जाटव के गायब होने पर गुमशुदगी दर्ज की गई। पुलिस ने बंटू के परिजनों से डीएनए टेस्ट कराने को कहा तो उन्होंने मना कर दिया। पुलिस को यही से उन पर शक हो गया। घटना वाली शाम को बंटू और राहुल को साथ देखा गया था। पुलिस का दो दिन पहले शक और गहरा गया। इसके बाद बंटू के भाई देवेंद्र पड़ोसी वीरेंद्र को हिरासत में लेकर पूछताछ की गई। सख्ती करने पर पूरा मामला खुल गया। इसके बाद पुलिस ने बबलू उर्फ बंटू को भी बरामद कर लिया।
एसएसपी राजेश डी मोदक ने पत्रकार वार्ता में बताया कि बंटू को जुआ खेलने की आदत थी, इसीलिए कर्जा बहुत हो गया था। बंटू ने अपने भाई सतीश, देवेंद्र के अलावा पड़ोसी वीरेंद्र और प्रेमपाल के साथ मिलकर अपनी फर्जी हत्या की साजिश रची। पड़ोसी गांव बुर्ज मिश्री निवासी राहुल बंटू का हमशक्ल था। परिचित होने के कारण सभी ने उसे गांव में बुला लिया। पहले चाऊमीन खिलाई, फिर उसे शराब में नींद की गोली पिलाकर बेहोश कर उसकी हत्या कर दी। एसएसपी ने बताया कि शनिवार रात को पुलिस ने कुएं से सिर, हाथ, कुल्हाड़ी और चप्पलें बरामद कर बंटू, सतीश, देवेंद्र और वीरेंद्र को गिरफ्तार कर लिया गया है। प्रेमपाल की गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं। पत्रकार वार्ता में एसपी पश्चिम बबिता साहू, सीओ एत्मादपुर अखिलेश भदौरिया शामिल रहे।
हाथ पर गोदन की पहचान मिटाने को काटा हाथ
कत्ल की साजिश एक-एक पहचान को ध्यान में रखकर रची गई थी। हत्या से पहले बंटू ने राहुल को अपने कपड़े पहनाए। उसकी गर्दन काटी ताकि चेहरे से शिनाख्त न हो। इसके बाद उसका हाथ इसलिए काट डाला, क्योंकि बंटू के हाथ पर उसका नाम गुदा हुआ था। हत्या में प्रयुक्त कुल्हाड़ी, राहुल की चप्पल, गर्दन और हाथ पास के कुएं में फेंक दिया गया।
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