National Backward conference in Agra : Backward unite to form Bhartiya Seva Sangh
आगरालीक्स… आगरा में चल रहे राष्ट्रीय पिछड़ा अल्पसंख्यक सम्मेलन में कहा कि हिंदुस्तान एक गुलदस्ता है, इसमें किस्म किस्म के फूल हैं, ये सभी खिलने चाहिए। मगर, ऐसा नहीं हो रहा है, कुछ लोग हमारे देश की इस तहजीब को मिटाने पर तुले हैं। ऐसे में पिछड़ी जातियों को एकसूत्र में बांधना होगा। शनिवार से शुरू हुए दो दिवसीय राष्ट्रीय पिछड़ा अल्पसंख्यक सम्मेलन में भारतीय सेवा संघ का प्रस्ताव रखा गया। यह गैरराजनैतिक संगठन होगा। देश में पिछड़े वर्ग की 6056 बंटी हुई बिरादरियों को एक सूत्र में बाधेंगा।
कालिन्दी विहार बलदाऊ गार्डन में आयोजित दो दिवसीय सम्मेलन के दो सत्रों में भारतीय सेवा संघ के विषय में देश के विभिन्न प्रांतों के पिछड़ा वर्ग से जुड़े संगठन के लोगों ने अपने विचार रखे। कहा कि पिछड़े समाज के जिन लोगों को हम विकास के लिए चुनकर संसद और विधानसभा तक पहुंचाते हैं, वहीं जीतने के बाद लीडर से डीलर बन जाते हैं। छोटे लोग मेहनत करते हैं, उनसे ही देश का विकास हो रहा है। मगर, इन लोगों के बारे में कोई नहीं सोचता। विकास के नाम पर एक्सप्रेस वे और मॉल बनाए जा रहे हैं लेकिन किसानों को उनकी फसल का उचित दाम नहीं मिल रहा है। गुजरात में हार्दिक पटेल के साथ पाटीदार समुदाय के लोगों के लिए अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के दर्जे की मांग के लिए आंदोलन चला रहे चिराग पटेल ने कहा कि देशद्रोह का मुकदमा चला, छह महीने नजरबंद रखा गया। हमारा आंदोलन पिछड़ा वर्ग के युवाओं की शिक्षा और किसानों के हक की लडाई के लिए है। वैसे भी गुजरात शासन व्यवस्था की प्रयोगशाला रहा है, पिछड़े वर्ग की लडाई भी गुजरात से शुरू होकर पूरे देश में लडी जाएगी। रोशन लाल गंगवार, बरेली ने कहा कि इतिहास में मंगल पांडे का नाम है लेकिन पिछड़े वर्ग के किसी भी हस्ती का जिक्र तक नहीं है। ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि पिछड़े वर्ग का कोई इतिहासकार नहीं था, जबकि इतिहास कईयों ने रचा। अब हमें यह काम करना होगा। इतिहास के पन्नों में समाज की हस्तियों का नाम दर्ज कराना होगा। संग्राम पिल्लई, उडीसा ने कहा कि हमारे प्रदेश में दलित, आदिवासी, यादव डीएवाई (day) के माध्यम से आवाज उठाई जा रही है। कई दशकों तक सवर्ण लूटते रहे हैं, देश में पिछड़े वर्ग की आबादी 54 फीसद है, इसी के हिसाब से आरक्षण भी 54 फीसद मिलना चाहिए। कार्यक्रम का संचालन करते हुए मराठा सेवा संघ के अध्यक्ष कामाजी पवार ने सच्चर कमेटी की सिफारिशों को लागू किए जाने की मांग की। भारतीय सेवा संघ के माध्यम से पिछड़ा वर्ग को एकसूत्र में बांधते हुए जिले से लेकर तहसील स्तर पर कमेटियां बनाने पर चर्चा की गई। सम्मेलन में आठ प्रदेशों के पिछड़ा वर्ग के लोग शामिल हुए। इस दौरान मराठा सेवा संघ के संस्थापक पुरुषोत्तम खेडेकर, प्रवक्ता अविनाश काकड़े, कार्यक्रम संयोजक तुलसी राम, सुरेंद्र सिंह, एससी यादव, केदार नाथ गुजर, अजय कुमार, विनोद सम्राट, राहुल राजव्रत, तेजपाल, जितेंद्र यादव, हरि सिंह यादव, डॉ श्री क्रष्ण यादव, हरीश चिमटी आदि मौजूद रहे।
सेना के खिलाफ नहीं एस्मा का विरोध
जेएनयू के छात्र साहदाब अनीस ने कहा कि नोर्थ ईस्ट में आवश्यक सेवा संरक्षण अधिनियम सेना का नहीं एस्मा का विरोध किया जा रहा है। वहां के लोगों को संवैधानिक अधिकार मिलने चाहिए। गांधी जी ने देश की परिकल्पना की थी, जहां कम से कम सेना हो, लेकिन हमारे देश में बॉर्डर पर ही नहीं नोर्थ ईस्ट के राज्यों में भी सेना तैनात है।
लीडर बनाते हैं और डीलर बन जाते हैं
डॉ विजेंद्र भाटी ने कहा कि पिछड़े वर्ग के लोगों को चुन कर लीडर बनाते हैं, लेकिन सत्ता में पहुंचने के बाद वे समाज के हित के लिए कोई काम नहीं करते। डीलर बन कर रह जाते हैं। शीतल प्रसाद साहू, लखनऊ ने कहा कि हर राजनैतिक दल का अपना पिछड़ा वर्ग है, मगर ये लोग पिछड़े वर्ग की क्रीमी लेयर हैं। उन लोगों के लिए कोई काम नहीं हो रहा है जो लाइन में सबसे पीछे खडे हैं।
सोशल मीडिया पर हों सक्रिय
हैदराबाद से आए ने कहा कि हमें भी सोशल मीडिया पर सक्रिय होना चाहिए। इससे पिछड़ा वर्ग के लिए किए जा रहे काम की जानकारी एक दूसरे को मिल सके। साथ ही बदलते दौर में सोशल मीडिया के माध्यम से अपनी बात सरकार तक पहुंचाई जा सके।
कोलेजियम सिस्टम समाप्त हो
न्यायपालिका में कोलेजियम सिस्टम समाप्त होना चाहिए। हाईकोर्ट व सुप्रीम कोर्ट न्यायधीशों की नियुक्ति खुली परीक्षा से हो, इसके लिए जल्द से जल्द फैसला लिया जाना चाहिए।
आज होगा सम्मान समारोह
रविवार को अंतिम दिन हास्य अभिनेता राजपाल यादव सहित आठ हस्तियों को सम्मानित किया जाएगा।