आगरालीक्स …Agra News : अपनी पर्सनलिटी को कैसे अच्छी करें, जानें टिप्स। ( Agra News : Know your personality to success in life)
आगरा के आंबेडकर विवि के सेठ पदमचंद जैन संस्थान में क्वांटम यूनिवर्सिटी, रुड़की से आए राज तेवतिया कहा कि व्यक्तित्व केवल बाहरी रूप-रंग या बोलचाल तक सीमित नहीं होती, बल्कि यह व्यक्ति की सोच, व्यवहार, कार्यशैली और दृष्टिकोण का समग्र रूप होती है। उन्होंने व्यक्तित्व के सात प्रकारों—इंट्रापर्सनल, इंटरपर्सनल, एनालिटिकल, न्यूमेरिकल, ऑडियो, आर्टिस्टिक और काइनेटिक—की विस्तार से जानकारी दी और उदाहरणों के माध्यम से स्पष्ट किया कि हर व्यक्ति की अपनी विशिष्टता होती है, जिसे पहचानकर ही वह अपने लक्ष्य की ओर सटीक रूप से आगे बढ़ सकता है। उन्होंने बताया कि इंट्रापर्सनल व्यक्तित्व वाले लोग स्वाभाविक रूप से आत्मविश्लेषी होते हैं और अपने मनोभावों को अच्छी तरह समझते हैं, जबकि इंटरपर्सनल व्यक्तित्व वाले लोग सामाजिक स्थितियों के अनुसार खुद को ढालते हैं। उन्होंने यह भी समझाया कि कैसे किसी भी इंटरव्यू के दौरान सामने वाले की व्यक्तित्व केवल सात सेकंड में आंकी जा सकती है, और यही तय करता है कि वह व्यक्ति नौकरी के योग्य है या नहीं।
कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी आगे बढ़ सकते हैं
यह भी कहा कि सकारात्मक एटीट्यूड और सॉल्यूशन-ओरिएंटेड सोच किसी भी व्यक्ति को कठिन से कठिन परिस्थितियों में भी आगे बढ़ने की शक्ति देती है। उन्होंने विद्यार्थियों को अपने स्वाभाविक गुणों को पहचानने और उसी के अनुसार अपने करियर का चुनाव करने की सलाह दी। उन्होंने न्यूमेरिकल व्यक्तित्व की चर्चा करते हुए बताया कि ऐसे लोग संख्याओं के प्रति विशेष झुकाव रखते हैं और प्रायः गणित, इंजीनियरिंग या विज्ञान जैसे क्षेत्रों में सफल होते हैं। वहीं काइनेटिक व्यक्तित्व वाले लोग ऊर्जावान होते हैं और लगातार क्रियाशील रहते हैं, जबकि ऑडियो व्यक्तित्व वाले कम बोलते हैं लेकिन गंभीर श्रोता होते हैं। आर्टिस्टिक व्यक्तित्व वाले दृश्यात्मक सोच से काम करते हैं और रचनात्मक क्षेत्रों में आगे बढ़ते हैं।
उन्होंने कहा कि यदि कोई व्यक्ति अपने स्वाभाविक गुणों और रुझानों को पहचानते हुए कार्य करे, तो उसे कम प्रयास में अधिक सफलता मिल सकती है। अंत में उन्होंने विद्यार्थियों को यह संदेश दिया कि अपने गोल को स्पष्ट करें, स्वयं की क्षमताओं को पहचानें और उसी दिशा में आगे बढ़ें, क्योंकि यही सफलता की सबसे मजबूत नींव है।