आगरालीक्स… आगरा में होटल की बार में शराब को लेकर तोडफोड में जेल गए 15 जूनियर डॉक्टरों को जमानत मिल गई, उन्हें जेल से रात तक रिहा कर दिया जाएगा। इस मामले में सीजेएम ने केस डायरी तलब की थी, मंगलवार को सुनवाई के बाद 15 जूनियर डॉक्टरों को जमानत दे दी गई.
आगरा के अशोका होटल एंड बार, दिल्ली गेट में शनिवार को सर्जरी विभाग के जूनियर डॉक्टर द्वितीय वर्ष अमित अपने साथियों के साथ बर्थ डे पार्टी मनाने पहुंचे थे। यहां शराब को लेकर विवाद के बाद मारपीट हो गई, हॉस्टल से आए छात्रों ने तोडफोड कर दी, उनकी वीडियो ग्रापफी कर रहे पुलिस कर्मियों से मारपीट की। पुलिस ने 25 जूनियर डॉक्टर व मेडिकल छात्रों को अरेस्ट कर लिया। इसमें से 15 को जेल भेज दिया था।
केस डायरी की थी तलब, मिली जमानत

मंगलवार को इनकी जमानत अर्जी पर सुनवाई सीजेएम सर्वजीत कुमार सिंह की कोर्ट में हुई। रेस्तरां के मालिक की ओर से भी कोर्ट में वकील खड़ा किया गया। दोनों पक्षों के वकीलों की बहस सुनने केबाद सीजेएम ने आरोपियों को 20-20 हजार रुपये के दो -दो जमानती और इतनी ही राशि के निजी मुचलकों पर रिहा करने का आदेश दिया। ये रात तक जिला जेल से रिहा हो जाएंगे, जमानत मिलने की सूचना पर मेडिकल छात्र और उनके परिजन जिला जेल पहुंच गए।
इन्हें भेजा गया था जेल
जेल भेजे गए जूनियर डॉक्टर वरुन (एसएन मेडिकल कॉलेज), जैतूल (राजवल, बिजनौर), सचिन (इजर, मुजफ्फरनगर), सुदांशू (चांदपुर, बिजनौर), सुनील (मरपत गेट, इलाहाबाद), कुलकेश कुमार (बसंतपुर, संबल), कृष्णकांत (फिरोजाबाद), आयुष कुमार और तुषार (मोतीकटरा, आगरा), अभीजीत, प्रत्यूष मिश्रा, अमित गौड़, श्यामेंद्र पाठक, रीतेश, पवन कुमार हैं।
शांति भंग में किए गए थे पाबंद
वहीं अर्जुन उप्पल, रिषभ नायक, विकास मिश्रा, शैलेष वैश्य, विशाल कपूर, राजेंद्र सिंह, हितेश चौधरी, शुभम शर्मा, रोहित कुमार और दीपक दुबे इन पर शांति भंग की कार्रवाई की गई। जूनियर डॉक्टरों के खिलाफ पुलिस ने कई साक्ष्य भी जुटाए हैं।
आईएमए ने मनाया काला दिवस,48 घंटे का अल्टीमेटम

जूनियर डॉक्टरों को जेल भेजने पर आईएमए ने काला दिवस मनाया, पुलिस प्रशासन को मुकदमा खत्म करने के लिए 48 घंटे का समय दिया है। इस दौरान मुकदमा खत्म नहीं किया जाता है तो निजी चिकित्सक भी हडताल पर चले जाएंगे। जूनियर डॉक्टरों पररिपोर्ट में लगी धाराओं में 147 और 149 बलवे की हैं। 323 मारपीट की है। 504 अपशब्द कहने की है। संपत्ति को नुकसान पहुंचाने की धारा 427 है। इमारत में घुसने की 452 और सरकारी काम में बाधा की 332 और 353 हैं। बलवे के मामले में लगाया जाने वाला सेवन क्रिमिनल लॉ एक्ट भी लगाया गया है।