New toll rates released for Agra-Lucknow, Purvanchal and Bundelkhand Expressway,
Agra News: Sri Ram’s Janmotsav took place in the Sri Ram Katha going on in Balkeshwar temple…#agranews
आगरालीक्स…आगरा के बल्केश्वर मंदिर में चल रही कथा में हुआ श्रीराम जन्मोत्सव. झूम उठे दर्शन. कथावाचक संत राजन बोले—दूसरे को श्रेष्ठ समझने वाला ही श्रेष्ठ
कभी राम के जयघोष तो कभी गूंजती थी राम नाम की धुन। बीच-बीच में लगते थे भगवान बल्केश्वरनाथ के जयघोष और होती थी वंदना। सोमवार को भगवान श्रीराम के जन्म का मनोहारी प्रसंग सुनाया और जयघोषों से पांडाल गूंज उठा। भगवान बल्केश्वर नाथ के पावन धाम में हो रही पांच दिवसीय श्रीराम कथा के द्वितीय दिवस में कौशल्या नंदन भगवान श्रीराम कथा का प्रसंग था। व्यास पीठ पर विराजमान संत राजन जी महाराज ने कहा श्रीराम की कथा जीवन की सभी व्यथाओं को दूर करती है, लेकिन जीवन में कभी अहंकार नहीं होना चाहिए। जिस तरह कठपुतली की डोर किसी और के हाथों में है, वैसे ही हमारे जीवन की डोर भी किसी और के हाथ में है, हम तो केवल भ्रम पाले हुए हैं कि हम जीवन में कुछ कर रहे हैं । उन्होंने कहा कि जो मनुष्य जीवन में सदैव अपने सामने वाले को स्वयं से श्रेष्ठ समझे, वहीं संसार में सर्वश्रेष्ठ होता है।
महाराज ने बताया कि बिना विश्वास व श्रद्धा का मिलन हुए जीवन में भक्ति की धारा कदापि प्रवाहित नहीं हो सकती, इसलिए श्रीराम कथा सुनने का व प्रभु की भक्ति करने का वही अधिकारी है जिसे सत्संग से प्रेम और प्रभु के प्रति मन में अटूट श्रद्धा व विश्वास हो। जीव को लगता है कि कथा हम गा रहे हैं पर यह तो उसका भ्रम मात्र है क्योंकि गाने और गवाने वाला तो कोई और है वास्तव में जीवन में हम जो कुछ भी कर पाते हैं उसे करने और कराने वाला तो कोई और है, इसलिए व्यक्ति को जीवन में सदैव अहंकार से मुक्त होकर सहज भाव से जीवन व्यतीत करना चाहिए। राम जन्म के उल्लास के साथ पंडाल भरा हुआ था। जैसे ही राजन जी महाराज ने भगवान श्रीराम के जन्म की घोषणा की, वैसे ही पूरे पंडाल में उल्लास छा गया। जयघोष गूंजने लगे। खुशियां मनाई गईं। सभी ने एक दूसरे को भगवान राम के जन्म की बधाई दी। बाबा बल्केश्वरनाथ के भक्तो ने कथा श्रवण कर आनन्द मनाया।।