Cataract operation should be done on time#Agra health
आगरालीक्स…मोतियाबिन्द का आपरेशन समय पर कराना जरूरी..भ्रांतियों पर न जाइए. जानिए क्या कहते हैं प्रमुख नेत्र रोग चिकित्सक कौस्तुभ साने….
अत्यंत सरलता से हो जाता है आपरेशन
मोतियाबिन्द के आपरेशन में आजकर आधुनिक तकनीकि उपकरण एवं अनुभवरी सर्जन की सहायता से अत्यंत सरलता से उत्तम परिणाम एवं नेत्र दृष्टि प्राप्त की जा सकती है. लेकिन समाज में व्याप्त कुछ भ्रांतियों के कारण मोतियाबिन्द के रोगी समय से आपरेशन नहीं कराते हैं. कभी—कभी अधिक देर हो जाने पर नेत्र दृष्टि वापस लाना भी कठिन हो जाता है.
एक भ्रांति मौसम को लेकर भी है. काफी मरीज सोचते हैं कि मोतियाबिंद का आपरेशन केवल सर्दियों में होता है एवं गर्मी के मौसम में कराने पर यह फेल यानी असफल हो जाता है. डॉ. साने कहते हैं कि यह पूरी तरह से भ्रामक है. पूर्व में जब आपरेशन शिविरों में होते थे तब गर्मी, धूल के मौसम में कुछ परेशानी आने की संभावना रहती थी, लेकिन अब आपरेशन थियेटर में होते हैं जिससे मौसम का कोई प्रभाव नहीं पड़ता. जख्मी मरीज 4 से 5 दिन का आराम कर सकता है.
भ्रांतियों को कीजिए दूर
दूसरी भ्रांति ये भी है कि मोतियाबिंद का आपरेशन केवल पूरा पक जाने पर ही होता है. डॉ. साने कहते हैं कि अब आधुनिक तकनीक (फेको या दूरबीन विधि) से कच्चा या पका हुआ सभी प्रकार के मोतियाबिंद का आपरेशन सफलतापूर्वक किया जा सकता है.
सर्दी के मौसम के इंतजार में या पकने के इंतजार में कई बार मरीज मोतियाबिंद का आपरेशन कराने में देर कर देते हैं एवं ज्यादा पकने या फट जाने पर कालापानी, ददर्ज आदि की परेशानी हो जाती है. इसके कारण कई बार नेत्र दृष्टि भी वापस लाना कठिन हो जाता है. ऐसे में मौसम या पकने का इंतजार न करें और समय से मोतियाबिंद का आपरेशन कुशल सर्जन द्वारा करा लेना चाहिए.